उस नवजात शिशु को गड्ढे में फेंक दिया गया था, जन्म के तुरंत बाद। बच्चे के शरीर पर गर्भनाल के अलावा जन्म के समय वाली गंदगी और रक्त भी लगा था। लेकिन वह इस सबसे बेजार सो रहा था। घटना बाड़मेर, राजस्थान स्थित बालोतरा के गांव रेवाड़ा कानावास में बुधवार की सुबह घटी।
पत्रकार श्री सवाई सैन ने पा-लो ना को बताया कि 09 मई की सुबह सुबह उन्हें रेवाड़ा कानावास में एक नवजात शिशु के फेंके जाने की सूचना मिली थी। उसे पैदा करने के तुरंत बाद ही सड़क किनारे एक गड्ढे में छोड़ दिया गया था। लोगों की नजर उस पर जब पड़ी, वह एक गुलाबी रंग के कपड़े के ऊपर आराम से सो रहा था। स्थानीय लोगों ने पचपदरा पुलिस के साथ ही एंबुलैंस को भी फोन कर दिया और वे घटनास्थल पर पहुंच गए। बच्चे को तुरंत पहले बालोतरा नाहटा अस्पताल और फिर बाड़मेर के अस्पताल में भर्ती कराया गया। तीन दिन वहां रखने के बाद बच्चे को जोधपुर शिशु गृह भेज दिया गया। फिलहाल बच्चा जोधपुर में है।
टीम पा-लो ना ने बच्चे के पाए जाने के फोटो और वीडियोज देखे हैं। उसके शरीर पर कोई कपड़ा नहीं लिपटा था। यही नहीं, गर्भनाल के साथ गर्भ की गंदगी भी बच्चे के शरीर पर लगी हुई थी। इसी सबसे ऐसा लगता है कि इस केस में संभवतः बच्चे की मां ने ही शिशु को जन्म देने के बाद त्याग दिया होगा। न जाने, उस मां ने एक बार भी बच्चे को अपने कलेजे से लगाया होगा या नहीं। एक बार सिर पर हाथ रखकर दुलारा होगा या नहीं। उसे अपना दूध भी पिलाया होगा या नहीं। बच्चा भूख से बेहाल हो कर रो-रो कर सो गया था या फिर ये नींद मां के दूध से मिली तृप्ति की थी।
09 मई 2018 बाड़मेर, राजस्थान (M)